जयपुर:राजस्थान में सरकारी भर्तियों में फर्जीवाड़े के खिलाफ चल रही मुहिम के तहत स्पेशल ऑपरेशन्स ग्रुप ने एक और बड़ी कामयाबी हासिल की है। सहायक अग्निशमन अधिकारी एवं फायरमैन भर्ती परीक्षा-2021 में फर्जी डिप्लोमा के आधार पर नियुक्ति पाने वाली अभियुक्ता सोबिया सैयद को एसओजी ने गिरफ्तार कर लिया है। वर्तमान में अभियुक्ता जयपुर के मालवीय नगर जोन में सहायक अग्निशमन अधिकारी के पद पर तैनात थी।
फिजिकल टेस्ट के अंकों ने जगाया संदेह
अतिरिक्त महानिदेशक पुलिस एसओजी श्री विशाल बंसल ने बताया कि जांच में चौंकाने वाला तथ्य सामने आया है। अभियुक्ता ने लिखित परीक्षा में तो औसत प्रदर्शन किया, लेकिन शारीरिक दक्षता और प्रायोगिक परीक्षा में उसे संदिग्ध रूप से बहुत अधिक अंक मिले। वीडियो फुटेज के गहन परीक्षण और दस्तावेजों की बारीकी से जांच की गई, तो परत दर परत फर्जीवाड़ा खुलता चला गया।
एक ही सत्र में तीन डिग्री
जांच में खुलासा हुआ कि सोबिया सैयद ने एक ही शैक्षणिक सत्र में कई डिग्रियां और डिप्लोमा हासिल किए। राजस्थान टेक्निकल यूनिवर्सिटी कोटा से नियमित बी.टेक. की डिग्री, नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ फायर एंड सेफ्टी इंजीनियरिंग नागपुर (महाराष्ट्र) से फायर एंड सेफ्टी इंजीनियरिंग का नियमित डिप्लोमा के साथ झुंझुनूं की सिंघानिया यूनिवर्सिटी से "सब फायर ऑफिसर" का डिप्लोमा प्राप्त किया।
नागपुर और झुंझुनूं के बीच की दूरी लगभग 900 किलोमीटर है। एक ही समय में दो अलग-अलग राज्यों के संस्थानों में नियमित छात्र के तौर पर उपस्थित रहना शारीरिक रूप से असंभव है, जिसने धोखाधड़ी की पुष्टि कर दी।
अभियुक्ता ने चयन प्रक्रिया के दौरान राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड और स्वायत्त शासन विभाग को गुमराह कर नागपुर की यूनिवर्सिटी से प्राप्त डिप्लोमा प्रस्तुत कर सहायक अग्निशमन अधिकारी के पद पर नियुक्ति प्राप्त कर ली। एसओजी ने इस मामले में आईपीसी की धारा 420, 467, 468, 471 और 120B के तहत केस दर्ज किया है।
रडार पर कई और अभ्यर्थी
एडीजी विशाल बंसल ने स्पष्ट किया है कि यह कार्रवाई अभी शुरुआत है। भर्ती परीक्षा-2021 में फर्जीवाड़े की कई और शिकायतें एसओजी को मिली हैं। आने वाले दिनों में इस मामले में कई और गिरफ्तारियां संभव हैं।
